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केंद्र सरकार पूर्वोत्‍तर राज्‍यों के विकास के लिए प्रतिबद्ध: ज्योतिरादित्य सिंधिया

“पूर्वोत्‍तर भारत की उन्नति और सशक्तिकरण के लिए केंद्र सरकार पूरी गंभीरता और समर्पण के साथ काम कर रही है। केंद्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया ने हाल ही में कहा कि सरकार पूर्वोत्‍तर राज्यों को विकास की मुख्यधारा में लाने के लिए हर संभव कदम उठा रही है। उनके अनुसार, पूर्वोत्‍तर भारत की सामाजिक और आर्थिक प्रगति भारत के समग्र विकास के लिए अत्यंत महत्वपूर्ण है।”

पूर्वोत्‍तर का समावेशी विकास

पूर्वोत्‍तर क्षेत्र लंबे समय से अपने भौगोलिक और संरचनात्मक कारणों से मुख्यधारा से पिछड़ता नजर आया। लेकिन, पिछले कुछ वर्षों में केंद्र सरकार ने इस दिशा में ठोस नीतियों और योजनाओं के माध्यम से पूर्वोत्‍तर के विकास को प्राथमिकता दी है। सिंधिया ने कहा कि यह सरकार केवल “साझेदारी” के सिद्धांत पर काम कर रही है ताकि सभी राज्यों के साथ सामंजस्य और समग्र विकास सुनिश्चित हो सके।

परिवहन और बुनियादी ढांचे का विकास

ज्योतिरादित्य सिंधिया, जो वर्तमान में नागरिक उड्डयन मंत्री भी हैं, ने विशेष रूप से परिवहन और उड्डयन क्षेत्र में हुए प्रगति कार्यों पर प्रकाश डाला। उन्होंने बताया कि पूर्वोत्‍तर राज्यों को जोड़ने के लिए हवाईअड्डों का विकास तेजी से किया जा रहा है। हाल के वर्षों में कई छोटे और बड़े हवाईअड्डों का निर्माण तथा विस्तार किया गया है, ताकि क्षेत्रीय संपर्कता में सुधार हो सके।

युवाओं को रोजगार और अवसर

केंद्र सरकार की योजनाओं का उद्देश्य केवल बुनियादी ढांचे का विकास ही नहीं, बल्कि पूर्वोत्‍तर के युवाओं को रोजगार के नए अवसर भी उपलब्ध कराना है। उन्होंने बताया कि कौशल विकास योजनाओं और विभिन्न औद्योगिक परियोजनाओं के माध्यम से यहां के युवाओं को सशक्त किया जा रहा है।

सांस्कृतिक और प्राकृतिक संपदा का संरक्षण

पूर्वोत्‍तर भारत अपनी प्राकृतिक सुंदरता और सांस्कृतिक विविधता के लिए प्रसिद्ध है। केंद्र सरकार पर्यटन उद्योग को बढ़ावा देने और यहां की अनूठी सांस्कृतिक धरोहर को संरक्षित करने की दिशा में भी कार्य कर रही है।

स्थानीय सरकारों के साथ तालमेल

सिंधिया ने स्पष्ट किया कि केंद्र सरकार स्थानीय सरकारों और जनप्रतिनिधियों के साथ मिलकर योजनाओं का संचालन कर रही है। इससे विकास कार्यों में पारदर्शिता और गति सुनिश्चित की जा रही है।

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