एयरो इंडिया 2025: रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने नई दिल्ली में राजदूतों के साथ गोलमेज बैठक की अध्यक्षता की
“रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने एयरो इंडिया 2025 के आयोजन से पहले नई दिल्ली में विभिन्न देशों के राजदूतों के साथ एक गोलमेज बैठक की अध्यक्षता की। इस बैठक का मुख्य उद्देश्य भारत की रक्षा क्षमताओं को वैश्विक स्तर पर प्रदर्शित करना और अंतरराष्ट्रीय सहयोग को बढ़ावा देना था।”
बैठक में एयरोस्पेस और रक्षा क्षेत्र में भारत के बढ़ते योगदान पर चर्चा की गई और विदेशी राजनयिकों को एयरो इंडिया 2025 में भाग लेने का निमंत्रण दिया गया।
बैठक का उद्देश्य:
इस बैठक का उद्देश्य था:
- भारत की रक्षा क्षमताओं और एयरोस्पेस क्षेत्र में हो रहे विकास को प्रस्तुत करना।
- अंतरराष्ट्रीय भागीदारी को प्रोत्साहित करना।
- एयरो इंडिया 2025 में विदेशी कंपनियों और देशों की भागीदारी सुनिश्चित करना।
रक्षा मंत्री ने बताया कि भारत आत्मनिर्भर भारत पहल के तहत रक्षा उत्पादन को बढ़ावा दे रहा है और एयरो इंडिया इस दिशा में एक महत्वपूर्ण मंच है।
क्या है एयरो इंडिया 2025?
एयरो इंडिया भारत का सबसे बड़ा एयरोस्पेस और रक्षा प्रदर्शनी कार्यक्रम है।
- यह आयोजन हर दो साल में होता है।
- इसमें अंतरराष्ट्रीय कंपनियां, रक्षा विशेषज्ञ, और सरकारी प्रतिनिधि हिस्सा लेते हैं।
- यह भारत की रक्षा ताकत को प्रदर्शित करने और वैश्विक साझेदारी बढ़ाने का एक मंच है।
एयरो इंडिया 2025 का आयोजन बेंगलुरु में किया जाएगा और इसमें दुनिया भर से एयरोस्पेस और रक्षा क्षेत्र की कंपनियां शामिल होंगी।
बैठक की मुख्य चर्चा:
- रक्षा सहयोग बढ़ाने पर जोर:
बैठक में भारत और अन्य देशों के बीच रक्षा क्षेत्र में सहयोग को मजबूत करने पर चर्चा हुई। - एयरो इंडिया 2025 में विदेशी भागीदारी:
राजनाथ सिंह ने विदेशी राजदूतों को एयरो इंडिया 2025 में भाग लेने के लिए आमंत्रित किया। - आत्मनिर्भर भारत पहल पर जोर:
बैठक में आत्मनिर्भर भारत पहल के तहत स्वदेशी रक्षा उत्पादन को बढ़ावा देने पर भी चर्चा हुई।
भारत की रक्षा क्षमताओं का प्रदर्शन:
बैठक में भारत की रक्षा क्षमताओं को प्रदर्शित किया गया।
- भारत अब कई स्वदेशी रक्षा उपकरण और हथियार प्रणाली विकसित कर रहा है।
- तेजस फाइटर जेट, अर्जुन टैंक, और आकाश मिसाइल सिस्टम जैसी रक्षा तकनीक को वैश्विक बाजार में पेश किया जाएगा।
अंतरराष्ट्रीय राजदूतों की प्रतिक्रिया:
बैठक में भाग लेने वाले विदेशी राजदूतों ने भारत के रक्षा क्षेत्र में किए जा रहे प्रयासों की सराहना की।
- कई देशों ने एयरो इंडिया 2025 में भाग लेने की इच्छा जताई।
- राजदूतों ने भारत के साथ रक्षा सहयोग बढ़ाने की संभावना पर भी चर्चा की।
बैठक से क्या उम्मीदें हैं?
| क्षेत्र | उम्मीदें |
|---|---|
| अंतरराष्ट्रीय भागीदारी | एयरो इंडिया 2025 में अधिक विदेशी भागीदारी। |
| रक्षा क्षेत्र में निवेश | विदेशी कंपनियों से भारत में निवेश की उम्मीद। |
| स्वदेशी रक्षा उत्पादन | आत्मनिर्भर भारत के तहत रक्षा उत्पादन को बढ़ावा। |
| रक्षा निर्यात | भारत के रक्षा निर्यात को वैश्विक स्तर पर बढ़ाना। |
राजनाथ सिंह का बयान:
रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने कहा: “एयरो इंडिया 2025 भारत की रक्षा क्षमताओं को प्रदर्शित करने का एक महत्वपूर्ण मंच है। हम अंतरराष्ट्रीय समुदाय के साथ रक्षा सहयोग को और मजबूत करना चाहते हैं।”
भारत की वैश्विक रक्षा रणनीति:
भारत की वैश्विक रक्षा रणनीति अब सिर्फ आयात पर निर्भर नहीं है।
- भारत अब रक्षा निर्यात को बढ़ावा दे रहा है।
- भारत की आत्मनिर्भर भारत पहल के तहत स्वदेशी रक्षा उत्पादन को प्राथमिकता दी जा रही है।
निष्कर्ष:
एयरो इंडिया 2025 भारत की रक्षा ताकत को प्रदर्शित करने का एक बड़ा मंच होगा। रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह की राजदूतों के साथ बैठक इस आयोजन की तैयारियों और अंतरराष्ट्रीय भागीदारी को मजबूत करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है। इस पहल से भारत का रक्षा क्षेत्र न केवल मजबूत होगा, बल्कि वैश्विक स्तर पर अपनी उपस्थिति भी दर्ज कराएगा।
