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जैविक खेती बेहतर आय और रोजगार का सशक्त माध्यम बनी: केंद्रीय मंत्री पीयूष गोयल

केंद्रीय वाणिज्य और उद्योग मंत्री पीयूष गोयल ने कहा कि जैविक खेती किसानों के लिए बेहतर आय और रोजगार सृजन का एक सशक्त माध्यम बन रही है। उन्होंने किसानों को रासायनिक खेती से हटकर जैविक खेती अपनाने का आह्वान किया और कहा कि इससे न केवल कृषि उत्पादन में सुधार होगा, बल्कि पर्यावरण संरक्षण में भी मदद मिलेगी।

जैविक खेती का महत्व:

पीयूष गोयल ने कहा कि जैविक खेती न केवल किसानों को अच्छा मुनाफा देती है, बल्कि सुरक्षित और पौष्टिक खाद्य उत्पाद भी उपलब्ध कराती है।

  • रासायनिक खादों और कीटनाशकों के अधिक उपयोग से जमीन की उर्वरता कम हो रही है।
  • जैविक खेती से मिट्टी की गुणवत्ता में सुधार होता है और यह पर्यावरण के अनुकूल भी है।
  • जैविक उत्पादों की अंतरराष्ट्रीय बाजारों में भी भारी मांग है।

किसानों के लिए जैविक खेती के फायदे:

फायदेविवरण
बेहतर आयजैविक उत्पादों की बाजार में अधिक मांग के कारण किसानों को अच्छी कीमत मिलती है।
स्वास्थ्य सुरक्षाजैविक खेती से उत्पादित खाद्य पदार्थ रसायन-मुक्त होते हैं, जिससे उपभोक्ताओं का स्वास्थ्य बेहतर रहता है।
पर्यावरण संरक्षणजैविक खेती पर्यावरण को नुकसान नहीं पहुंचाती और मिट्टी की उर्वरता को बनाए रखती है।
नए रोजगार के अवसरजैविक उत्पादों की प्रोसेसिंग, पैकेजिंग और निर्यात में रोजगार के नए अवसर पैदा होते हैं।

आय और रोजगार सृजन का स्रोत:

पीयूष गोयल ने कहा कि जैविक खेती ग्रामीण अर्थव्यवस्था को मजबूत करने में मदद कर सकती है।

  • नए रोजगार अवसर: जैविक खेती से जुड़े स्टार्टअप्स, प्रोसेसिंग यूनिट्स और लॉजिस्टिक्स के क्षेत्र में रोजगार के नए अवसर पैदा हो रहे हैं।
  • निर्यात का बढ़ावा: भारत के जैविक उत्पादों की अंतरराष्ट्रीय बाजारों में मांग तेजी से बढ़ रही है, जिससे निर्यात को बढ़ावा मिल रहा है।

सरकार की पहल:

केंद्रीय मंत्री ने कहा कि सरकार जैविक खेती को प्रोत्साहित करने के लिए कई योजनाएं और नीतियां लागू कर रही है।

  1. परंपरागत कृषि विकास योजना (PKVY):
    • इस योजना के तहत किसानों को जैविक खेती के लिए वित्तीय सहायता प्रदान की जा रही है।
  2. मिशन ऑर्गेनिक वैल्यू चेन डेवलपमेंट:
    • इस योजना का उद्देश्य जैविक उत्पादों की प्रोसेसिंग और मार्केटिंग को बढ़ावा देना है।

जैविक खेती के लिए जरूरी कदम:

  1. जागरूकता अभियान:
    किसानों को जैविक खेती के लाभ और तकनीकों के बारे में जागरूक किया जाना चाहिए।
  2. प्रशिक्षण और सहायता:
    सरकार को प्रशिक्षण कार्यक्रम चलाकर किसानों को जैविक खेती के आधुनिक तरीकों से अवगत कराना चाहिए।
  3. मार्केटिंग सपोर्ट:
    जैविक उत्पादों के लिए स्थानीय और अंतरराष्ट्रीय बाजारों में पहुंच सुनिश्चित करने के लिए मार्केटिंग सुविधाएं दी जानी चाहिए।

अंतरराष्ट्रीय बाजार में भारतीय जैविक उत्पादों की मांग:

भारतीय जैविक उत्पादों की अंतरराष्ट्रीय बाजार में काफी मांग है।

  • अमेरिका, यूरोप, और जापान जैसे देशों में भारतीय जैविक उत्पादों की भारी खपत होती है।
  • भारत के चाय, मसाले, चावल, और फल जैसे उत्पाद अंतरराष्ट्रीय बाजार में अच्छी कीमत पर बिकते हैं।

पीयूष गोयल का संदेश:

केंद्रीय मंत्री ने कहा: “जैविक खेती न केवल किसानों की आय बढ़ाने में मददगार है, बल्कि यह पर्यावरण के संरक्षण और ग्रामीण विकास के लिए भी आवश्यक है।”

उन्होंने किसानों से जैविक खेती को अपनाने और परंपरागत खेती के तरीकों में बदलाव करने की अपील की।

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